जैव -विविधता एवं संरसक्षण Ch (14) Practice Quiz in Hindi Part 2 || Class 11 Geography Book -1 Practice Quizzes in Hindi Posted on March 2, 2025March 2, 2025 by Anshul Gupta0% 0 votes, 0 avg 0 जैव -विविधता एवं संरसक्षण Ch (14) 1 / 201. जैव-विविधता से हम क्या समझ सकते हैं? A. जीवन का आरंभ कैसे हुआ B. उपरोक्त सभी C. जीवन भविष्य में कैसे विकसित होगा D. जीवन कैसे चलता है स्पष्टीकरण: जैव-विविधता इसलिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि प्रत्येक प्रजाति हमें यह संकेत दे सकती है कि जीवन का आरंभ कैसे हुआ और यह भविष्य में कैसे विकसित होगा। जीवन कैसे चलता है और पारितंत्र, जिसमें हम भी एक प्रजाति हैं, उसे बनाए रखने में प्रत्येक प्रजाति की क्या भूमिका है, इन्हें हम जैव-विविधता से समझ सकते हैं। 2 / 202. कुछ जंतुओं का, उनके सींग, सूँड़ व खालों के लिए अवैध शिकार करने से क्या होता है? A. उपरोक्त में से कोई नहीं B. कोई प्रभाव नहीं पड़ता C. जैव-विविधता में वृद्धि होती है D. कुछ प्रजातियाँ लुप्त होने के कगार पर आ जाती हैं स्पष्टीकरण: पिछले कुछ दशकों के दौरान, कुछ जंतुओं, जैसे- बाघ, चीता, हाथी, गैंडा, मगरमच्छ, मिंक और पक्षियों का, उनके सींग, सूँड़ व खालों के लिए निदर्यतापूर्वक अवैध शिकार किया जा रहा है। इसके फलस्वरूप कुछ प्रजातियाँ लुप्त होने के कगार पर आ गई हैं।3 / 203. IUCN ने संकटापन्न पौधों व जीवों की प्रजातियों को कितने वर्गों में विभाजित किया है? A. 4 B. 2 C. 1 D. 3 स्पष्टीकरण: प्राकृतिक संसाधनों व पर्यावरण संरक्षण की अंतर्राष्ट्रीय संस्था IUCN) ने संकटापन्न पौधों व जीवों की प्रजातियों को उनके संरक्षण के उद्देश्य से तीन वर्गों में विभाजित किया है।4 / 204. ‘विदेशज प्रजातियाँ’ किसे कहते हैं? A. जो स्थानीय आवास की मूल जैव प्रजाति नहीं हैं B. जो स्थानीय आवास की मूल जैव प्रजाति हैं C. उपरोक्त में से कोई नहीं D. जो लुप्त हो चुकी हैं स्पष्टीकरण: वे प्रजातियाँ, जो स्थानीय आवास की मूल जैव प्रजाति नहीं हैं, लेकिन उस तंत्र में स्थापित की गई हैं, उन्हें ‘विदेशज प्रजातियों’ कहा जाता है।5 / 205. जैव-विविधता के फलस्वरूप मानव को कौन से प्रमुख आर्थिक महत्व के उत्पाद उपलब्ध होते हैं? A. वन संसाधन B. उपरोक्त सभी C. खाद्य फसलें D. पशु स्पष्टीकरण: खाद्य फसलें, पशु, वन संसाधन, मत्स्य और दवा संसाधन आदि कुछ ऐसे प्रमुख आर्थिक महत्त्व के उत्पाद हैं, जो मानव को जैव-विविधता के फलस्वरूप उपलब्ध होते हैं। 6 / 206. पिछले कुछ दशकों से, प्राकृतिक संसाधनों का उपभोग अधिक क्यों होने लगा है? A. उपरोक्त सभी B. औद्योगिक विकास C. जलवायु परिवर्तन D. जनसंख्या वृद्धि स्पष्टीकरण: पिछले कुछ दशकों से, जनसंख्या वृद्धि के कारण, प्राकृतिक संसाधनों का उपभोग अधिक होने लगा है। 7 / 207. जैव-विविधता का स्तर क्या दर्शाता है? A. प्राकृतिक आपदाएँ B. उपरोक्त सभी C. अन्य जीवित प्रजातियों के साथ हमारे संबंध D. मानव संस्कृति स्पष्टीकरण: जैव-विविधता का स्तर अन्य जीवित प्रजातियों के साथ हमारे संबंध का एक अच्छा पैमाना है। 8 / 208. प्राकृतिक आपदाओं से जैव-विविधता पर क्या प्रभाव पड़ता है? A. कोई प्रभाव नहीं पड़ता B. जैव-विविधता बढ़ती है C. उपरोक्त में से कोई नहीं D. जैव-विविधता में बदलाव आता है स्पष्टीकरण: प्राकृतिक आपदाएँ- जैसे भूकंप, बाढ़, ज्वालामुखी उद्गार, दावानल, सूखा आदि पृथ्वी पर पाई जाने वाली प्राणिजात और वनस्पति जात को क्षति पहुँचाते हैं और परिणामस्वरूप संबंधित प्रभावित प्रदेशों की जैव-विविधता में बदलाव आता है।9 / 209. ‘दुर्लभ प्रजातियाँ’ किसे कहते हैं? A. जो विदेशज हैं B. उपरोक्त में से कोई नहीं C. जिनकी संख्या बहुत कम है D. जिनके लुप्त हो जाने का खतरा है स्पष्टीकरण: दुर्लभ प्रजातियों में वे प्रजातियाँ सम्मिलित हैं जिनकी संख्या संसार में बहुत कम है।10 / 2010. जैव-विविधता को संसाधनों के भंडार के रूप में कैसे समझा जा सकता है? A. औषधियाँ B. भोज्य पदार्थ C. उपरोक्त सभी D. सौंदर्य प्रसाधन स्पष्टीकरण: जैव-विविधता को संसाधनों के उन भंडारों के रूप में भी समझा जा सकता है, जिनकी उपयोगिता भोज्य पदार्थ, औषधियाँ और सौंदर्य प्रसाधन आदि बनाने में है। 11 / 2011. उष्णकटिबंधीय वर्षा वाले वनों में पृथ्वी की लगभग कितनी प्रतिशत प्रजातियाँ पाई जाती हैं? A. 10% B. 25% C. 75% D. 50% स्पष्टीकरण: उष्णकटिबंधीय वर्षा वाले वनों में पृथ्वी की लगभग 50 प्रतिशत प्रजातियाँ पाई जाती हैं।12 / 2012. जैव-विविधता के विनाश के लिए क्या उत्तरदायी है? A. जलवायु परिवर्तन B. उपरोक्त सभी C. जैव संसाधनों की परिकल्पना D. प्राकृतिक आपदाएँ स्पष्टीकरण: जैव संसाधनों की ये परिकल्पना जैव-विविधता के विनाश के लिए भी उत्तरदायी है। 13 / 2013. ‘सुभेद्य प्रजातियाँ’ किसे कहते हैं? A. उपरोक्त में से कोई नहीं B. जिन्हें यदि संरक्षित नहीं किया गया तो निकट भविष्य में उनके विलुप्त होने का खतरा है C. जिनकी संख्या बहुत कम है D. जो विदेशज हैं स्पष्टीकरण: सुभेद्य प्रजातियों में वे प्रजातियाँ सम्मिलित हैं, जिन्हें यदि संरक्षित नहीं किया गया या उनके विलुप्त होने में सहयोगी कारक यदि जारी रहे तो निकट भविष्य में उनके विलुप्त होने का खतरा है।14 / 2014. जैव-विविधता का संरक्षण क्यों आवश्यक है? A. पारितंत्र के स्थायित्व के लिए B. पर्यावरण संतुलन के लिए C. मानव के अस्तित्व के लिए D. उपरोक्त सभी स्पष्टीकरण: मानव के अस्तित्व के लिए जैव-विविधता अति आवश्यक है। जीवन का हर रूप एक दूसरे पर इतना निर्भर है कि किसी एक प्रजाति पर संकट आने से दूसरों में असंतुलन की स्थिति पैदा हो जाती है।15 / 2015. क्या कई प्रजातियों को स्वेच्छा से विलुप्त करना नैतिक रूप से सही है? A. कभी-कभी B. नहीं C. उपरोक्त में से कोई नहीं D. हाँ स्पष्टीकरण: कई प्रजातियों को स्वेच्छा से विलुप्त करना नैतिक रूप से गलत है। 16 / 2016. ‘संकटापन्न प्रजातियाँ’ किसे कहते हैं? A. जो विदेशज हैं B. जिनके लुप्त हो जाने का खतरा है C. उपरोक्त में से कोई नहीं D. जिनकी संख्या बहुत कम है स्पष्टीकरण: संकटापन्न प्रजातियों में वे सभी प्रजातियाँ सम्मिलित हैं, जिनके लुप्त हो जाने का खतरा है।17 / 2017. विदेशज प्रजातियों के आगमन से क्या होता है? A. जैव-विविधता में वृद्धि B. पारितंत्र में प्राकृतिक या मूल जैव समुदाय को व्यापक नुकसान C. उपरोक्त में से कोई नहीं D. कोई प्रभाव नहीं पड़ता स्पष्टीकरण: ऐसे कई उदाहरण हैं, जब विदेशज प्रजातियों के आगमन से पारितंत्र में प्राकृतिक या मूल जैव समुदाय को व्यापक नुकसान हुआ।18 / 2018. कीटनाशक और अन्य प्रदूषक, जैव-विविधता को कैसे प्रभावित करते हैं? A. उपरोक्त में से कोई नहीं B. कोई प्रभाव नहीं पड़ता C. संवेदनशील और कमज़ोर प्रजातियों को नष्ट कर देते हैं D. जैव-विविधता को बढ़ाते हैं स्पष्टीकरण: कीटनाशक और अन्य प्रदूषक, जैसे- हाइड्रोकार्बन और विषैली भारी धातु, संवेदनशील और कमज़ोर प्रजातियों को नष्ट कर देते हैं।19 / 2019. भारत सरकार ने जैव-विविधता के संरक्षण के लिए कौन सा अधिनियम पारित किया है? A. पर्यावरण संरक्षण अधिनियम 1986 B. वायु प्रदूषण निवारण अधिनियम 1981 C. वन्य जीव सुरक्षा अधिनियम 1972 D. जल प्रदूषण निवारण अधिनियम 1974 स्पष्टीकरण: भारत सरकार ने प्राकृतिक सीमाओं के भीतर विभिन्न प्रकार की प्रजातियों को बचाने, संरक्षित करने और विस्तार करने के लिए, वन्य जीव सुरक्षा अधिनियम 1972 पारित किया है।20 / 2020. उष्ण कटिबंधीय क्षेत्र में संसार की कितनी जनसंख्या रहती है? A. पूरी B. तीन चौथाई C. आधी D. एक चौथाई स्पष्टीकरण: उष्ण कटिबंधीय क्षेत्र, जो विश्व के कुल क्षेत्र का मात्र एक चौथाई भाग है, यहाँ संसार की तीन चौथाई जनसंख्या रहती है। Please insert your information to see your ranking अपनी Ranking जानने के लिए कृपया अपनी जानकारी भरे NamePhone Number Your score isThe average score is 0% 0% Restart quiz Category: Class 11 Geography Quizzes in Hindi